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    कुछ शब्द

    किसी के फ़ासले का ,
    वो फ़साना बदल गया 
    किसी को अपना लगे,
    वो अफ़साना बदल गया 
    अपना मतलब देखकर ,
    बदल गए लोग और
    कहने लगे शायर साहब ,
    ज़माना बदल गया

    मेरा संग देखने वाले 
    मेरा ढंग देखने वाले 
    ना मझहब जान पाए मेरे 
    ज़बान का रंग देखने वाले

    Akhade Soham Subhash

    5 टिप्पणियाँ

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